Swing trading kya hai | स्विंग ट्रेडिंग क्या है ? Swing trading की शुरुआत कैसे करें – Best Swing trading tips in Hindi – दोस्तों Swing trading भारतीय शेयर मार्केट में एक बहुत ही फेमस ट्रेडिंग का प्रकार है यह दूसरी सभी ट्रेडिंग की प्रकारों से बहुत ही अलग है और बहुत ही प्रभावी है इसमें समय अवधि 1 दिन से लेकर 1 महीने तक की होती है या ऐसा कह सकते हैं कि जो टारगेट हमने सेट करके रखा हुआ है तब तक हम शेयर को होल्ड करके रख सकते हैं जब भी हमारा टारगेट अचीव हो जाता है हम शेयर बेच देते हैं
Swing trading हमें टेक्निकल एनालिसिस की आवश्यकता होती है इसलिए हमें एक टेक्निकल इंडिकेटर की आवश्यकता होती है Swing trading मैं कम समय में अच्छा प्रॉफिट कमा सकते हैं खरीदे हुए शेयर को को हमें कम से कम 1 दिन एक रात रखना पड़ता है और अधिकतम कोई समय सीमा नहीं है Swing trading कहलाती है Swing trading kya hai | स्विंग ट्रेडिंग क्या है ? Swing trading की शुरुआत कैसे करें
Swing trading kya hai – स्विंग ट्रेडिंग क्या है ?
Swing trading में आमतौर पर लोग किसी भी कंपनी के शेयर खरीद कर अपने पास जब 1 सप्ताह से ज्यादा या 1 महीने तक रखते हैं या उसके बाद भाव बढ़ने पर उसे बेचते हैं उसे आमतौर पर Swing trading कहा जाता है Swing trading में कंपनी के शेयरों की डिलीवरी ली जाती है इसे इसलिए डिलीवरी बेस्ट ट्रेडिंग भी कहा जाता है
दूसरे शब्दों में कहा जाए तो दोस्तों जब मार्केट में up trend एंड Down trend के दौरान जब भी बाजार में तेजी और मंदी आती है उसी दौरान हम मुनाफा कमाने के लिए जो भी शेयर खरीदते हैं और बेचते हैं उसे Swing trading कहा जाता है
स्विंग ट्रेडिंग का मतलब क्या होता है ? – Swing trading meaning in Hindi
स्विंग ट्रेडिंग का मतलब एक ऐसी ट्रेडिंग से हैं जिसे हम मार्केट में up trend एंड Down trend के मध्य करते हैं स्विंग ट्रेडिंग के अंदर हम किसी भी शेयर को खरीद कर 1 सप्ताह से लेकर 1 महीने की तक अपने पास रख सकते हैं और उसके बाद हम उसे बेचकर अपना अपना काम आते हैं
Swing trading की शुरुआत कैसे करें – स्विंग ट्रेडिंग कैसे करें
How to start swing trading in stock market दोस्तों Swing trading मैं आपको शुरुआत करने के लिए एक Demat अकाउंट की आवश्यकता होती है जिसे आप किसी भी एक ब्रोकर सॉफ्टवेयर या एप्लीकेशन के माध्यम से खोल सकते हो इसमें मिनिमम अमाउंट जमा करके आप किसी भी कंपनी के शेयर को खरीद सकते हो और भेज सकते हो
स्विंग ट्रैडिंग कैसे करे? | swing trading kaise kare?
ट्रैडिंग अकाउंट खोले: स्विंग ट्रेडिंग करने के लिए सर्वप्रथम आपको Trading account खोलने की जरूरत होगी| आजकल कई ट्रेडिंग कंपनियां Demo account भी देती हैं जिनकी मदद से आप ट्रेडिंग को आसानी से समझ पाते हैं और लाइव ट्रैडिंग से पहले अभ्यास कर सकते है ।
बाजार का आंकलन करे: Trading account खोलने के पश्चात आपको बाजार विश्लेषण की जरूरत पड़ेगी, इस पर मदद के लिए कई वित्तीय टूल उपलब्ध हैं जो उचित मार्गदर्शन कर सकते हैं।
स्विंग ट्रैडिंग के लिए शेयर चुने: जब आप बाजार को अच्छे से समझ लिए हैं और अपनी जरूरत के अनुसार जोखिम के लिए तैयार हैं, अब जरूरत है आपको ऐसे स्टॉक या एजेंट की जो आपकी जरूरत के अनुसार फिट बैठता हो।
जोखिम प्रबंधन करे: ट्रेडिंग में यह आवश्यक नहीं है कि आपके द्वारा लिए गए निर्णय हमेशा सही हो और आपको हमेशा लाभ ही प्राप्त हो, कई बार सही बाजार आंकलन और रणनीति के बाद भी अप्रत्याशित हानि उठानी पड़ती है| आपको अपनी वित्तीय जोखिम के अनुसार लाभ या हानि हर तरह के जोखिम के लिए तैयार रहना चाहिए।
अपनी ऐसेट को मॉनिटर करे: अपनी ऐसेट को मॉनिटर करते रहें, देखें कि क्या वह आपकी आशा के अनुरूप प्रदर्शन कर पा रहा है या नही। सही समय पर बाहर निकलना बेहतर विकल्प हो सकता है, लाभ के साथ यहाँ कभी-कभी हानि के साथ भी हमें बाहर निकलना पड़ता है।
मैं स्विंग ट्रेडिंग के लिए स्टॉक कैसे चुनूं – स्विंग ट्रेडिंग के लिए स्टॉक कैसे चुनें
बाजार की दिशा: ट्रैड करते समय कुछ ट्रेडर्स मार्केट की स्थिति के अनुसार भी स्टॉक को चुनते हैं इसके लिए कंपनी के स्तिथि, उससे संबधित खबरों पर नजर रखनी चाहिए| कोशिश करे कि बेहतर प्रदर्शन कर रहे स्टॉक को ही चुना जाएI
तरलता या लिक्विडिटी: तरलता स्विंग ट्रेडर्स के लिए एक अच्छा पैमाना हो सकती हैं, अच्छी लिक्विडिटी का अर्थ है ऐसे स्टॉक जोकि ट्रेड मार्केट में बहुत बड़ी मात्रा में खरीदे या बेचे जाते हैं, ये प्रदर्शित करते है कि स्टॉक कि मांग बाजार में अच्छी है, अच्छे तरलता वाले स्टॉक अपेक्षाकृत कम जोखिम के साथ आते हैI
अन्य स्टॉक के साथ तुलना: इसमें स्टॉक की तुलना उसी सेक्टर से संबंधित अन्य स्टॉक के प्रदर्शन के साथ की जाती है ताकि अधिकतम प्रभावशाली या बेहतर प्रदर्शन वाले स्टॉक को चुना जा सके।
स्टॉक का ट्रैडिंग पैटर्न: स्टॉक के पुराने ट्रेडिंग पैटर्न को देखकर ही भविष्य के लिए उस स्टॉक के लिए अनुमान लगाए जाते है, अतः जो स्टॉक एक निश्चित उतार-चढ़ाव को दोहराते हो वो अच्छे विक्लप हो सकते है।
कम बदलाव वाले स्टॉक: ट्रेडर्स ज्यादा जंपी स्टॉक को लेना पसंद नहीं करते हैं, वह उन्हीं स्टॉक में निवेश करते हैं जो कि तुलनात्मक रूप से कम उछाल या गिरावट दिखाते हो ताकि उनके पैटर्न को अच्छे से समझा जा सकेI
स्विंग ट्रेडिंग करते समय क्या देखना चाहिए?
Support and resistance :
दोस्तों Swing trading में Support and resistance बहुत ही महत्वपूर्ण रोल अदा करते हैं सभी ट्रेडर को कोशिश यही करनी चाहिए कि सपोर्ट के ब्रेकडाउन के बाद हमें शेयर खरीदने चाहिए तथा रजिस्टेंस के ब्रेक डाउन के बाद हमें शेयर बेच देना चाहिए
News based stock :
Swing trading में ट्रेडर ऐसे ही कंपनी के स्टॉक्स चुनता है जिस पर भारतीय शेयर बाजार के किसी भी न्यूज़ का बहुत ही ज्यादा प्रभाव पड़ता हो जिस न्यूज़ की वजह से यह मार्केट ब्रेकआउट देने की तैयारी कर रहा हो या ब्रेकआउट दे चुका हो यह न्यूज़ किसी भी प्रकार की हो सकती है अच्छी भी हो सकती है बेकारी हो सकती है यदि अच्छी हुई तो यह भारतीय शेयर बाजार को ऊपर की ओर ब्रेक आउट करेगा तथा यदि यह न्यूज़ खराब हुई तो यह शेयर बाजार को नीचे की ओर ब्रेकडाउन करेगा
Swing trading technique :
दोस्तों आपको हमेशा Swing trading करने के लिए हमेशा High Liquidity share को खरीदना चाहिए या इन्हीं का चुनाव करना चाहिए शेयर मार्केट में एंट्री और एग्जिट करने के लिए आपको MACD ADX AND FAST MOVING AVERAGE KA उपयोग हमेशा करना चाहिए
स्विंग ट्रेडिंग कितने दिनों के लिए किया जाता है?
कंपनी के शेयर खरीद कर अपने पास जब 1 सप्ताह से ज्यादा या 1 महीने तक रखते हैं या उसके बाद भाव बढ़ने पर उसे बेचते हैं. जहां लॉन्ग टर्म निवेशकों को मामूली 25% लाभ कमाने के लिए पांच महीने तक इंतजार करना पड़ सकता है
Swing trading के फायदे और नुकसान – Advantage and disadvantage of Swing trading
Swing trading में ट्रेडिंग करके हर कोई वह व्यक्ति जो ट्रेडिंग में नॉलेज रखता हो या ट्रेडिंग करने के लिए कोई कंसलटेंट की सुझाव लेता हूं वह व्यक्ति Swing trading के माध्यम से महीने मैं अच्छा इनकम कर सकता है मतलब मंथली इनकम कर सकता है यह प्रॉफिट एंड लॉस महीने के अंत में मालूम पड़ता है
- Swing trading के माध्यम से ट्रेडिंग करने के लिए ट्रेडर को ब्रोकर के द्वारा कोई भी लेवरेज नहीं दी जाती है मतलब सारा पैसा ट्रेडर अपनी जेब से लगाता है इसमें ब्रोकर कुछ भी सहयोग नहीं करता है मतलब जिसके पास कम पैसे हैं वह व्यक्ति इससे ज्यादा पैसे नहीं कमा सकता इसमें कम से कम 2 से ढाई लाख रुपए चाहिए अच्छी इनकम करने के लिए
- Swing trading के माध्यम से ट्रेडिंग करने से हमें कम से कम 10 से 15 परसेंट का प्रॉफिट हो जाता है यह प्रॉफिट बहुत ही जल्दी होता है और बहुत ही अच्छा होता है
- Swing trading के माध्यम से ट्रेडिंग करने मैं हमें रिस्क भी होता है रिस्की यह होता है कि हमें शेयरों को एक रात के लिए रखना पड़ता है जिसके कारण रात में कभी भी मार्केट डाउन जा सकता है और हमें घाटा हो सकता है
- Swing trading के माध्यम से यदि हम ऐसे शेयरों में पैसा इन्वेस्टमेंट कर देते हैं जो ज्यादा मूवमेंट नहीं करते हैं वह हमारा पैसा ज्यों का त्यों रहे जाता है क्योंकि ज्यादा मूवमेंट के कारण बाजार ना तो ऊपर जाता है ना नीचे आता है और हमें शेयरों को 1 महीने से ज्यादा नहीं रख सकते हैं
Swing trading टिप्स एंड ट्रिक्स – Best Swing trading tips in Hindi
- Swing trading के माध्यम से ट्रेडिंग करने के लिए आपको हमेशा ही बाजार का रुख जांच ना होगा या ट्रेंड को पहचानना होगा कि यह ऊपर जा रहा है या नीचे जा रहा है जब यह ऊपर जाए तो आप उसे खरीद लेगा और जब नीचे जाए तो आप शेयर बेच दीजिएगा
- Swing trading के माध्यम से ट्रेडिंग करने के लिए आप एक अच्छा ट्रेडिंग प्लान बनाएं उसके अंदर आप प्रॉफिट सेट और स्टॉप लॉस एंट्री और एग्जिट का प्रयोग करना चाहिए
- कभी ऐसे कंपनी के शेयरों में Swing trading ना लें जिसमें 10% का मूवमेंट आ चुका हो क्योंकि यह कभी भी आपको घाटे में डाल सकता है और आप अपना पैसा खो सकते हो
- जिस भी शहर में आप Swing trading ले रहे हो उसका आप एक बार VAR {value at risk } चेक जरूर करें क्योंकि इस कदर आपको पता चल जाता है कि अगर घाटा लगा तो कितने का नुकसान हो सकता है
Conclusion
तो दोस्तों अभी तक आपने जाना की Swing trading kya hai swiing trading kaise kare Swing trading in Hindi , What is swing trading in stock market ,Swing trading in stocks, Swing trading kaise karen ,What is the mean of Swing trading in Hindi यदि आपको इस आर्टिकल से कोई सुझाव हो या अपना सुझाव देना चाहते हो तो कमेंट अवश्य करें अपनी राय अवश्य रखें